पटनाः राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के एक विधायक के बिहार विधानसभा में राष्ट्रीय गीत “वंदे मातरम” के दौरान खड़े नहीं होने को लेकर विवाद खड़ा हो गया है। विधायक पर लोगों ने राष्ट्रीय गीता का सम्मान नहीं करने का आरोप लगाया है। घटना गुरुवार 30 जून 2022 को बिहार विधानसभा के मानसून सत्र के अंतिम दिन की है। राजद विधायक सऊद आलम राष्ट्रगान जन गण मन के लिए खड़े हुए लेकिन वंदे मातरम के दौरान वे बैठे रहे। सत्र के समापन के बाद जब वे बाहर निकले तो मीडिया के सवालों पर कहा कि हमारा राष्ट्रगान जन गण मन है ना कि वंदे मातरम, इसलिए मैं खड़ा नहीं हुआ। सऊद आलम ठाकुरगंज निर्वाचन क्षेत्र से विधायक हैं। राजद विधायक से पत्रकारों ने पूछा कि वंदे मातरम गाने से आपको क्या परहेज है, जिसपर सऊद आलम ने कहा कि हमारा देश हिंदू राष्ट्र नहीं है, हमारा देश एक धर्मनिरपेक्ष राष्ट्र है। जन गण मन हमारा राष्ट्रीय गान है, वंदे मातरम नहीं।
Watch: Rashtriya Janata Dal (@RJDforIndia) MLA Saud Alam refused to stand up for the “#VandeMataram” in the Bihar assembly.
“Our country has not become a Hindu nation yet, so I did not stand for the national song,” said MLA Saud Alam. #Bihar #SaudAlam pic.twitter.com/OwmLfvtexH
— Organiser Weekly (@eOrganiser) July 1, 2022
वीडियो वायरल
इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। वीडियो में देखा जा सकता है कि वंदे मातरम के दौरान सीएम नीतीश कुमार और तेजस्वी यादव सहित सभी विधायक लिए खड़े होते हैं लेकिन लालू यादव की पार्टी राष्ट्रीय जनता दल के विधायक सऊद आलम बैठे ही रहते हैं।
भारत अभी तक एक हिंदू राष्ट्र नहीं है
जब सभी सदस्य सभा कक्ष से बाहर आए तो पत्रकारों ने उनसे पूछा कि वह राष्ट्रगीत का सम्मान क्यों नहीं करते। सऊद आलम ने अपनी कार्रवाई का बचाव करते हुए कहा कि भारत अभी तक एक हिंदू राष्ट्र नहीं है। उन्होंने कहा, ‘वंदे मातरम हमारा राष्ट्रगान नहीं है। हमारा राष्ट्रगान जन गण मन है और इसलिए मैं खड़ा नहीं हुआ।”
भाजपा ने राष्ट्रीय नायकों का अपमान करने का आरोप लगाया
बिहार बीजेपी विधायक संजय कुमार सिंह ने आलम को फटकार लगाते हुए कहा कि इस तरह का व्यवहार स्वीकार नहीं किया जाएगा। सिंह ने संवाददाताओं से कहा कि राजद विधायक ने वंदे मातरम के सम्मान में खड़े होने से इनकार कर राष्ट्रीय नायकों का अपमान किया है। उन्होंने आगे कहा कि ऐसे व्यक्तियों की विधायिका में आवश्यकता नहीं है। यह पहली बार नहीं है जब किसी राजद नेता ने वंदे मातरम का अपमान किया है। इससे पहले, राजद नेता अब्दुल बारी सिद्दीकी ने कहा था कि वंदे मातरम का पाठ करना उनके धार्मिक विश्वासों का उल्लंघन है। सिद्दीकी ने आगे कहा था कि जो लोग एक ईश्वर को मानते हैं वे कभी भी वंदे मातरम नहीं गाएंगे।