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KYC कराने के नाम पर ऐंठ लिए रिटायरमेंट के 21 लाख, भुक्‍तभोगी ने बैंक कर्मियों पर भी लगाया मिलीभगत का आरोप

पलामू: हुसैनाबाद थाना क्षेत्र के चिरैयाखाड़ गांव निवासी व वर्तमान में जिला मुख्यालय मेदिनीनगर के सूदना निवासी रामसुंदर सिंह से साइबर अपराधियों ने लगभग 21लाख रुपए उड़ा ले गए। इस संबंध में सिंह ने मेदिनीनगर साइबर थाना में लिखित शिकायत दर्ज कराई है। इसमें उन्होंने लिखा है कि 5 जुलाई को उनके मोबाइल नंबर 9431312325 पर मोबाइल नंबर 8327396582 से काॅल आया। कॉल करने वाले शख्‍स ने अपना नाम मधुसूदन बताया।

झांसे में लाकर ठग ने एप्‍लीकेशन डाउनलोड कराया

उसने बताया कि वह भारतीय स्टेट बैंक ब्रांच कर्मी है। कहा कि बैंक में आपका केवाईसी करना है। उन्होंने कहा कि हम बैंक आकर मिल लेंगे। थोड़ी देर बाद फ्राॅड ने पुनः उनकी बातों में आकर एक एप्लिकेशन को डाउनलोड किया और पैन कार्ड,आधार की जानकारी दी। कहा गया कि आप बैंक आकर 7 जुलाई को मिल लेंगे। 7 जुलाई को बैंक जाने पर पता चला कि खाता हैकर्स ने खाता खाली कर दिया है।

बैंक कर्मी पर लगाया मिलीभगत का आरोप

इस घटना से भुक्तभोगी काफी तनाव में हैं। घर के लोग परेशान हैं। आस-पड़ोस के लोगो में भी ऐसी घटना से दहशत है। इधर भुक्तभोगी ने बैंक कर्मियों पर भी मिलीभगत होने का आरोप लगाया है। भुक्तभोगी ने कहा कि बैंक मैनेजर को काॅल किया गया। बावजूद उन्होंने फोन रिसिव नहीं किया।

घर बनाने के लिए जमा किए थे पैसे

उन्होंने यह भी कहा कि उनका खाता में इंटरनेट बैंकिंग सेवा एक वर्ष पूर्व से बंद कराया गया है। फिर 24 घंटा के भीतर इतनी मोटी रकम ऑनलाइन ट्रांजक्शन करना बैंक को कठघरे में खड़ा करता है। इतना ही नहीं जिस खाता में पैसा ट्रांससफर कराया गया हैं वह बेनिफेसरी लिस्ट में नही हैं। इसके बाद भी ट्रांजेक्शन संभव कैसे हो गया। भुक्तभोगी जिंदल कंपनी के सेवानिवृत्‍त बड़े पोस्ट के कर्मी थे। उन्होंने जमीन व घर बनाने के लिए पैसा संजोया था।

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Author: nirbhiknazar

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